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फोन की खरीदारी के बाद कुछ सावधानियां


जब एक बार आप फोन का चुनाव कर खरीदारी कर लेते हैं तो फोन से संबंधित आपकी जिम्मेदारी कम नहीं हो जाती बल्कि बढ़ जाती है। क्योंकि मोबाइल का बेहतर और सुरक्षित उपयोग ही आपको बेहतर मोबिलिटी का मजा दे सकता है। फोन को चालू करने से लेकर उसे बंद करने तक हर जगह आपको सावधान रहना होगा।

अकाउंट सेटिंग
स्मार्टफोन की खरीदारी के बाद जैसे ही आप फोन को आॅन करेंगे सबसे पहले अकाउंट सेटिंग (#account setting) पर जाता है। जहां आपको अपना ईमेल अकाउंट (#E-Mail account) सेट करना होता है। आप चाहें तो बगैर इसके भी फोन चालू कर सकते हैं लेकिन फिर स्मार्टफोन का मजा नहीं आएगा। आॅपरेटिंग (#operating) के हिसाब से ईमेल अकाउंट अलग सेट करना होगा। 

एंडराॅयड के लिए जीमेल अकाउंट (#gmail account), विंडोज फोन (#windows phone) के लिए एमएसएन (#SMS) या लाइव डाॅट काॅम अकाउंट (#live.com account) और एप्पल फोन (#apple phone)  में आईओएस (#IOS) अकाउंट। अकाउंट सेटिंग से न सिर्फ काॅन्टेक्ट और डाटा सुरक्षित होंगे बल्कि एप्लिकेशन (#application) डाउनलोड के लिए भी यह आवश्यक है। यदि पहले से आपका अकाउंट नहीं है तो वहां आप एक्जीसटिंग के बजाय न्यू यूजर का चुनाव कर अकाउंट बना सकते हैं। अकाउंट के बाद समय और तिथि इत्यादि दो-तीन प्रक्रिया के साथ आपका फोन चालू हो जाएगा। 

बैटरी बैकअप
फोन का उपयोग करते वक्त आपको जब जी करता है तब उसे चार्ज पर लगा देते हैं और जब मन चाहा तब चार्ज से निकाल लेते हैं। परंतु इससे न सिर्फ आपके फोन का परफाॅर्मेंस खराब होता है बल्कि बैटरी भी बहुत जल्दी खराब होने के आसार बन जाते हैं। फोन लेने के बाद सबसे पहले आपको उसे भरपूर चार्ज करना चाहिए। उस दौरान एक भी बार चार्ज हटाना नहीं चाहिए। इससे बैटरी के सभी सेल एक्टिव हो जाते हैं और बैटरी बैकअप (#battery Backup) भी बेहतर रहता है। 

टास्क मैनेजर
स्मार्टफोन में हम किसी भी एप्लिकेशन का उपयोग करते हैं और उसे बंद किए बगैर सीध होम स्क्रीन (#home screen) पर आकर फोन को लाॅक कर देते हैं। ऐसे में अक्सर बैकग्राउंड में एप्लिकेशन चलती ही रह जाती है इससे बैटरी बैकअप से लेकर फोन के परफाॅर्मेंस पर बुरा प्रभाव पड़ता है। ऐसे में आपकी कोशिश यही होनी चाहिए कि बैकग्रांउड में चल रही एप्लिकेशन बंद कर दें। विंडोज फोन में बैक बटन प्रेस कर और एंडराॅयड व आईओएस में होम बटन से बैकग्राउंड मे चल रही एप्लिकेशन देखी जा सकती है और वहीं से बंद कर सकते हैं। 

अनचाही कनेक्टिविटी बंद करें
फोन का उपयोग करते हुए आपकी सजगता न सिर्फ आपका धन बचाएगी बल्कि कई खतरों से भी
रोकथाम में सहायक होगी। जहां वाई-फाई (#wifi) कनेक्शन होता है हम फोन को कनेक्ट तो करते हैं लेकिन रास्ते में जहां कनेक्शन नहीं होेता है वहां उसे बंद करना भूल जाते हैं। लोकेशन और ब्लूटूथ के साथ भी  ऐसा ही है। आॅन करने के बाद उसे बंद करने का ध्यान नहीं रहता है। ये चीजें न सिर्फ आपके फोन का नुकसान करती हैं बल्कि डाटा चोरी की वजह भी बन जाती हैं। 

ऐसे में यह ध्यान रहे कि उसी कनेक्टिविटी को आॅन करें जिसकी आपको जरूरत हो। लगभग सभी स्मार्टफोन में एप्स स्टोर एप्लिकेशन स्टोर का इंटीग्रेशन होता है जहां से फोन के लिए एप्लिकेशन डाउनलोड की जा सकती हैं। परंतु कुछ आॅपरेटिंग ऐसे हैं जहां एप्स स्टोर के अलावा अन्य स्रोतों से एप्लिकेशन को इंस्टाॅल करने में सक्षम हैं यह फोन के लिए अच्छा नहीं है। कोशिश यही होनी चाहिए कि फोन में एप्लिकेशन संबंधित स्टोर से ही डाउनलोड की जाए। 

बैंकिंग व निजी जानकारियां
स्मार्टफोन के सुरक्षित होने के भले ही लाख दावे किए जाते हों लेकिन यह बात सच है कि अब भी वह पूरी तरह सुरक्षित नहीं है। फोन में कई एप्लिकेशन ऐसी हैं जो आपके निजी डाटा की जानकारी रखती हैं। वहीं दूसरी ओर मोबाइल बैंकिंग और मोबाइल पेमेंट का विकल्प भी काफी बढ़ता जा रहा है। 

ऐसे में यह आवश्यक हो जाता है कि आप बैंकिंग या अपने क्रेडिट कार्ड से संबंधित किसी भी तरह की जानकारी को मेल, एसएमएस, चैटिंग या सोशल नेटवर्किंग (#social networking) में न लिखें। यहां से आपका डाटा चोरी हो सकता है और कोई इसका दुरुपयोग भी कर सकता है। वहीं बैंकिंग या किसी अन्य तरह का पेमेंट सेवा का उपयोग करने के बाद इंटरनेट (#internet) हिस्ट्री को भी खत्म करें तो बेहतर होगा। 

चार्जर
आज फोन में यूनिर्वसल चार्जर (#charger) का उपयोग बढ़ गया है। एप्पल को छोड़ दें तो लगभग हर कंपनी एक ही तरह के मोबाइल चार्जर का उपयोग कर रही है। इसके अलावा लैपटाॅप (#laptop) व कंप्यूटर (#computer)  से भी यूएसबी द्वारा भी आज काफी लोग फोन चार्ज करते हैं। 

आपात स्थिति के लिए तो यह ठीक है लेकिन हमेशा इस तरह फोन चार्ज करने पर उसे नुकसान हो सकता है। हरेक चार्जर अलग-अलग वोल्ट से बिजली सप्लाई करता है। वहीं यूएसबी (#USB) और चार्जर द्वारा बिजली सप्लाई में भी अंतर है। ऐसे में कोशिश यही होनी चाहिए कि फोन के साथ दिए गए चार्जर से ही अपने फोन को चार्ज करें। 

डाटा बैकअप
पहले लोगों को अक्सर यह शिकायत होती थी कि फोन गुम होने या खराब होने की वजह से सारा काॅन्टेक्ट खत्म हो गया है। परंतु स्मार्टफोन आने के बाद इस समस्या से बहुत हद तक निजात पा ली गई है। वहीं क्लाउड स्टोरेज (#cloud storage) ने तो फोटो, म्यूजिक और डाॅक्यूमेंट को भी सुरक्षित बना दिया है। 

स्मार्टफोन के अकाउंट सेटिंग में जाकर वहां से काॅन्टेक्ट, कैलेंडर और मैसेज सहित कई अन्य चीजों को सिंक कर सकते हैं। ऐसे में यदि आप फोन बदलने या गुम होेने पर नए फोन में आसानी से अपना डाटा पा सकते हैं। नए स्मार्टफोन में जैसे ही अपना ईमेल अकाउंट जो पुराने फोन में था उसे इंटीग्रेट करेंगे सारे काॅन्टेक्ट व डाटा स्वतः ही आ जाएंगे। इतना ही नहीं, क्लाउड सर्विस को इंटीग्रेट कर आप फोटो, म्यूजिक और नोट भी आप नए फोन में पा सकते हैं।  

अनचाहा डाटा खत्म करें
आपने गौर किया होगा कि जैसे-जैसे फोन पुराना होने लगता है वैसे-वैसे वह धीमा हो जाता है और हैंग भी होने लगता है। उसका कारण होता है। इंटरनल मैमोरी में अनचाही फाइलों का होना। किसी भी एप्लिकेशन या वेब पेज सर्फ करने के दौरान अक्सर अनचाही फाइल आ जाती हैं। 

ये फाइल फोन की मैमोरी (#memory) में सुरक्षित होती हैं। ऐसे में आवश्यक है कि आप इन्हें अक्सर नष्ट करते जाएं। एप्लिकेशन मैनेजर में हर एप्लिकेशन में जाकर आपको कैश मैमोरी को नष्ट करना होगा। इसके साथ ही कोशिश यही करें कि इंटरनेट सेटिंग में जाकर हिस्ट्री और कैश को खत्म करें। इससे न सिर्फ मैमोरी खाली होगी बल्कि हैंग और धीमा होने की समस्या पर से भी निजात पाई जा सकती है। 

छह माह या साल के अंतराल पर यह भी कोशिश करें कि फोन के आवश्यक डाटा का बैकअप लेकर फैक्टरी सेटिंग मार दें। इससे फोन का अनचाहा डाटा नष्ट हो जाएगा। यदि आप किसी एप्लिकेशन का उपयोग नहीं करते हैं तो उसे अनइंस्टाॅल कर दें तो ज्यादा बेहतर होगा।

रख-रखाव
फोन को रखने के दौरान भी आपको सजग रहना है। सबसे पहले तो यही सलाह दूंगा कि आप इसे अपनी कमीज की ऊपरी जेब में न रखें। क्योंकि हल्का सा झुकने पर भी फोन गिर जाएगा और आपको नुकसान हो सकता है। वहीं कई डाॅक्टर भी सलाह देंगे कि मोबाइल को दिल के पास न रखें। 

मेज, डेस्क या रैक पर फोन को रखते वक्त भी ध्यान रखें कि स्क्रीन ऊपर की ओर हो। इससे स्क्रीन पर रगड़ नहीं आएगी और यदि नीचे की जेब में फोन को डाल रहे हैं तो उसमें सिक्का या फिर धातु की कोई चीज न हो। इससे स्क्रीन पर रगड़ का निशान आ सकता है।

उपयोग के बाद
हालांकि सभी को अपना फोन प्यारा होता है लेकिन कुछ अवधि के बाद आप उसका उपयोग बंद कर देते हैं और तब आप उसे बेच देना पसंद करते हैं या घर के किसी कोने में पड़ा रह जाता है। उपयोग के बाद भी सावधानी जरूरी है। 

बेचने से पहले
यदि आप अपना फोन किसी को बेच रहे हैं तो कोशिश यही करें कि उस व्यक्ति के बारे में संपूर्ण जानकारी प्राप्त कर लें। कहां रहता है किस स्वभाव का है और हो सके तो थोड़ी बहुत कागजी कार्रवाई कर लें। इससे आप पूरी तरह सुरिक्षत हो जाएंगे। क्योंकि फोन की खरीदारी के समय आईएमआई नंबर पंजीकृत होता है और फोन से संबंधित जानकारी का भी डाटा तैयार होता है। ऐसे में यदि फोन का गलत उपयोग होता है तो आईएमईआई (#imei) नंबर के माध्यम से जांच की जाती है। इसलिए थोड़ी सी सावधनी की बदौलत आप किसी भी अप्रिय घटना से बच सकते हैं। 

घर में रखने पर
यदि आप किसी फोन का उपयोग नहीं कर रहे हैं तो उसे ऐसे स्थान पर रखें जिससे वह बच्चों की पहुंच से दूर रहे। फोन का निर्माण कई तरह के कैमिकल, लेड और शीशे से होता है। छोटे बच्चे मोबाइल को चाट लेते हैं या मुंह में लेने की कोशिश करते हैं जो उनके लिए खतरनाक होगा है। वहीं बैटरी में तो बहुत ही खतरनाक रसायन होता है जो चाटने या मुंह में लेने पर बहुत ज्यादा नुकसान कर सकता है। 

रिसायकल
आज कई ऐसेे घर हैं जहां पुराने फोन, जो उपयोग लायक नहीं हैं वे एक कोने में पड़े हुए हैं। लोग उसे बेचते नहीं कि उससे कुछ पैसा नहीं मिलेगा और फेंकते भी नहीं। या फेंकते भी हैं तो घर के कूडे़दान में ही डाल देते हैं। आपको बता दूं कि उसे बहुत ज्यादा पुराना फोन घर में रखना और उसे कूड़े में फेंकना खतरनाक है। 

यह ई-कचरा होता है जो घर में रह कर भी शरीर को नुकसान पहुंचाता है और इधर-उधर फेंक देते हैं तो भी। इसलिए इन्हें सही तरीके से नष्ट करें। आज कई रिटेल काउंटर्स (#retail counter) पर कलेक्शन सेंटर (#collection counter) बनाए गए हैं जो पुराने फोन को रिसायकल के लिए भेजते हैं। आप भी अपने पुराने फोन जिसका उपयोग नहीं है उसे इन्हीं कलेक्शन सेंटर में जमा करें। 

अंततः यही कहूंगा कि फोन की खरीदारी हो या उपयोग, बुद्धिमानी और सजगता ही आपको बेहतर मोबिलिटी का मजा दे सकती है। इसलिए जरूरी है कि मोबाइल उपयोग से लेकर रिसायकल तक सजग रहें। सुरक्षित रह कर ही अपने परिवार और दूसरों को सुरक्षा दे सकते है। इसलिए जरूरी है कि आप सजग रहें, सुरक्षित रहें।
पफोन की खरीदारी हो या उपयोग, बु(िमानी और सजगता ही आपको बेहतर मोबिलिटी का मजा दे सकती है। मोबाइल उपयोग से लेकर रिसायकल तक सजग रहें। सुरक्षित रह कर ही अपने परिवार और दूसरों को सुरक्षा दे सकते है।


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